उत्तराखंड में होने वाले राष्ट्रीय खेलों की तैयारियां अब अपने अंतिम चरण में हैं। खिलाड़ियों के चयन से लेकर सांस्कृतिक कार्यक्रमों और खेल विश्वविद्यालय की स्थापना तक, सभी पहलुओं पर तेज़ी से काम चल रहा है।
खिलाड़ियों का चयन हुआ आसान
हैंडबॉल, ताइक्वांडो और वॉलीबॉल के खिलाड़ियों के चयन को लेकर आ रही तकनीकी दिक्कतों को दूर कर लिया गया है। गेम्स टेक्निकल कंडक्ट कमेटी (जीटीसीसी) ने इन तीनों खेलों के लिए चयन के मानक तय कर दिए हैं। जीटीसीसी की चेयरपर्सन सुनैना कुमारी द्वारा इस संबंध में पत्र भी जारी कर दिया गया है।
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खेल विभाग के अधिकारियों के अनुसार, ताइक्वांडो खिलाड़ियों का चयन ओपन ट्रायल के माध्यम से जीटीसीसी की एक विशेष समिति द्वारा किया जाएगा। वहीं, हैंडबॉल और वॉलीबॉल प्रतियोगिताओं के लिए 2023 में गोवा में आयोजित 37वें राष्ट्रीय खेलों में भाग लेने वाली शीर्ष सात टीमों को उत्तराखंड में होने वाले खेलों में सीधे आमंत्रित किया जाएगा।
मशाल यात्रा का भव्य आयोजन
राष्ट्रीय खेलों की औपचारिक शुरुआत 26 दिसंबर को हल्द्वानी के गोलापार से होने वाली मशाल यात्रा के साथ होगी। खेल मंत्री रेखा आर्या ने सोमवार को देहरादून के राजीव गांधी क्रिकेट स्टेडियम से इस मशाल यात्रा की प्रचार टीमों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। तीन सजे-धजे प्रचार कैंटर और अन्य टीमें इस यात्रा का प्रचार प्रसार करेंगी।
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यह मशाल यात्रा एक महीने तक प्रदेश के विभिन्न जिलों का भ्रमण करते हुए 25 जनवरी को देहरादून पहुंचेगी। इस दौरान हर जिले में साइकिल रैली, मैराथन, प्रभात फेरी, रस्साकशी, पंजा प्रतियोगिता और स्कूलों में क्विज जैसी विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया जाएगा।
त्येक जिले में कम से कम 500 स्वयंसेवकों के पंजीकरण का लक्ष्य रखा गया है। खेल मंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलाधिकारियों को खेलों की तैयारियों को समय पर पूरा करने के निर्देश दिए। इस अवसर पर विशेष खेल सचिव अमित सिन्हा, निदेशक प्रशांत आर्या सहित कई अधिकारी उपस्थित थे।
सांस्कृतिक कार्यक्रमों की धूम
राष्ट्रीय खेलों के दौरान उत्तराखंड की समृद्ध संस्कृति को देश भर के दर्शकों के सामने प्रस्तुत करने की विशेष तैयारी की गई है। इसकी शुरुआत मशाल यात्रा से ही होगी। प्रसिद्ध पांडवाज बैंड प्रदेश भर में पांच विशेष प्रस्तुतियां देगा।
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इसके अलावा, कमला देवी और अन्य लोक कलाकारों के भी भव्य कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।
डोपिंग के प्रति जागरूकता
राष्ट्रीय खेलों में भाग लेने वाले खिलाड़ियों को डोपिंग के खतरों से अवगत कराने के लिए एक विशेष कार्यशाला का आयोजन किया गया। खेल मंत्री ने इस कार्यशाला का शुभारंभ करते हुए कहा कि खिलाड़ियों को डोपिंग के नियमों और प्रतिबंधित दवाओं के बारे में पूरी जानकारी होनी चाहिए।
खेल विश्वविद्यालय की स्थापना का मार्ग प्रशस्त
उत्तराखंड में खेल विश्वविद्यालय की स्थापना का मार्ग भी प्रशस्त हो गया है। राजभवन ने इस संबंध में लाए गए संशोधित अध्यादेश को मंजूरी दे दी है। अब 28 जनवरी को होने वाले 38वें राष्ट्रीय खेलों के उद्घाटन समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा इस विश्वविद्यालय का शिलान्यास किया जाएगा।
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खेल मंत्री रेखा आर्या ने इस उपलब्धि पर खुशी व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) गुरमीत सिंह का आभार व्यक्त किया।
इस प्रकार, राष्ट्रीय खेलों के आयोजन को लेकर उत्तराखंड सरकार पूरी तरह से तैयार है और खेलों को सफल बनाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।